सूरज का जज़्बा
सूरज की गर्मी से जलते हैं हमारे अरमान और ख्वाब,
चाँद की ठंडी चाँदनी में भी छिपा है संघर्ष का जवाब।
रात की गहराई में कितने ही सितारे टिमटिमाते हैं,
पर सूरज की तरह जलते हैं, खुद को साबित करने की चाह में समाते हैं।
सूरज की किरणें दिन भर धरती पर आग लगाती हैं,
हर पल की तपिश से हमारी मेहनत को परखती हैं।
अंधेरे में भी उजाला फैलाने का हौसला पैदा करती हैं,
जैसे रात की चाँदनी में चाँद की चमक उम्मीद जगाती है।
हम भी सूरज की तरह जलते हैं अपने सपनों की राह पर,
हर एक जलते हुए दिल की आवाज़ सुनाते हैं, जैसे हो इंकलाब का आगाज़ हर बार।
अंधेरे में चमकने का जुनून दिल में छुपा है हमारे,
सपनों की इस दुनिया में हर चुनौती को पार करने की राह है हमारे।
सूरज की तपिश से सजी धरती की तस्वीरें बयां करती हैं संघर्ष की बातें,
जिनमें छुपी हैं हर ख्वाब की महक और मेहनत की सच्चाई की कथाएँ।
चाँद की ठंडी चाँदनी में भी सपनों की शांति को पाते हैं हम,
पर संघर्ष की इस आग को भुजाने का हौसला हर दिन दिखाते हैं हम।
अग्नि की इस दुनिया में खुद को साबित करने की क़ीमत चुकानी होती है,
हर जलते हुए ख्वाब की कहानी सुनाने से पहले खुद को तपाना होता है।
सूरज की तपिश से चाँद की ठंडक तक का यह सफर आसान नहीं होता,
पर इस यात्रा में खुद को हर दिन नया साबित करने का जुनून हमेशा होता है।